तू जा तेरी यादों को
मेरे करीब रहने दे
जैसा भी है जो है
मेरा नसीब रहने दे
मुस्कान लाने की कोशिश
ना कर इन लबों पे कर
नजरें भरी- भरी हैँ
जी भर के बहने दे
नजर आने की इन
नजर में,
अब ना कोशिश कर
आंशुओ को ही
निगाहों के अजीज रहने दे
गम हैँ गर जिंदगी मे
तो अधूरा क्यूँ ये हो
दर्द को भी संग इनके
सरिक रहने दे
गम ही अब ज़िन्दगी मे
जो रम गया है तो
अब इन्हे भी साँसो के
मुरीद रहने दे
प्रभा आभा ✍️
#Women