न जाने आजकल हमसे वो अक्सर खुश नहीं रहते।
वो बोलते नहीं हमसे और हम कभी चुप नहीं रहते।
जो कहना चाहते उनसे,न कह पाए कभी कहकर।
है चाहत उसके अंदर भी वो सबकुछ भाँप हैं लेते।।
कभी बातें न हों मुख से,तो सब कुछ नैन हैं कहते।
हृदय जब मुस्कुराता है,नहीं फिर भेद हैं रहते।।
🖊️R@inbow🌈
खामोशियों से कुछ बातें