कांटे किस्मत में हो तो बहारे आये कैसे जो नहीं बस में हो उसकी चाहत घटाएं कैसे सूरज जो चढ़ता है करते हैं उसको सब सलाम डूबते सूरज को बला सलाम हम दिलाएंगे कैसे वह नादान है समंदर को समझते हैं तालाब कितनी गहराई है उनसे बताएं कैसे......!! ©Rahul #Light MR VIVEK KUMAR PANDEY Quotes, Shayari, Story, Poem, Jokes, Memes On Nojoto