किससे करू फ़रियाद जब मेरा बोलना भी गुनाह हो किस बा | हिंदी Shayari

"किससे करू फ़रियाद जब मेरा बोलना भी गुनाह हो किस बात की करू आस जब तेरा होना भी ख़्वाब हो _Soor ©Mishty Ahir"

 किससे करू फ़रियाद 
जब मेरा बोलना भी गुनाह हो
किस बात की करू आस
जब तेरा होना भी ख़्वाब हो
_Soor

©Mishty Ahir

किससे करू फ़रियाद जब मेरा बोलना भी गुनाह हो किस बात की करू आस जब तेरा होना भी ख़्वाब हो _Soor ©Mishty Ahir

#Thinking

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