कई अरसे बाद मेरे चट्टानी दिल में, एक प्रबल अंकुर हुआ, दोस्ती रूपी पौध का। कहीं उसके काढ़ में दम तोड़ न दे रिश्ते, मसल दिया उसको मुझ जैसे बेदर्दी ने। (काढ़- पेड़ की छाया) ©Ankit Tripathi #alone Quotes, Shayari, Story, Poem, Jokes, Memes On Nojoto