वही शाम थी वही वजह, वही झील थी वही जगह, था मैं अकेला बैठा रहा, आग थी दो जो जलती रही, झील किनारे एक थी वो, और एक मेरे भीतर जलती रही #इंतेजार Quotes, Shayari, Story, Poem, Jokes, Memes On Nojoto