"मेरी चाहत की......
तू चाह कर भी नुमाइश ना कर!!!
पलड़ा तुझे भारी ही मिलेगा...
बस रिश्ते दिल की आजमाइश ना कर!!!
माना सपने होंगे जरा दरख़्त...
पर तू गाथा-सतसई की फरमाइश ना कर!!!
मैं भी हूं बेबस_निरीह व लाचार….
बस तू बुजुर्गों सी समझाइश ना कर!!!"
मेरी चाहत की......
तू चाह कर भी नुमाइश ना कर!!!
पलड़ा तुझे भारी ही मिलेगा...
बस रिश्ते दिल की आजमाइश ना कर!!!
माना सपने होंगे जरा दरख़्त...
पर तू गाथा-सतसई की फरमाइश ना कर!!!
मैं भी हूं बेबस_निरीह व लाचार….
बस तू बुजुर्गों सी समझाइश ना कर!!!