ख्वाब टुटा था फिर उम्मीद जताने आया हू
आज खुद से किया वादा निभाने आया हू
एक अरसे से उसकी यादों को संभाल रखा था मैने
आज हिम्मत तो देखो उसकी हर तस्वीर जलाने आया हू
वैसे तो मै संभाल के रखता था उसके सारे तोहफे
पर अब तो अलमारी भी मेरी उन्हे अपनाती नहीं है
मै तो तरसा था तेरी आवाज़ तक सुनने को
बेवफा क्या तुझे मेरी याद आती नहीं है
और ज़र्रा ज़र्रा होकर मैने बचाया है खुद को
कुछ इस कदर गिर के सम्भला हू
तेरा हुस्न तेरी खूबसूरती अब तुझे मुबारक
देख मै किस कदर उभरकर आया हू
आज खुद से किया वादा निभाने आया हू |
©So Hail