White मेरा वजूद शायद ख़त्म होता दिख रहा है
लेकिन मजे में हम है तजुर्बा हो रहा है
मेरा जो गुरुर था उसको रख दिया है
जो कुछ अब हो रहा है अच्छा हो रहा है
ये कौन है कुछ नहीं है हम जानते है पर
बेवजह का बस कहूं तो तमाशा हो रहा है
इक बात अगर कहूं तो सुनना ध्यान से
इस जिंदगी में खसारा दुबारा हो रहा है
मिलवाते ये बताते की मै क्या हूं रूआब से
तब तो पता चलता कौन हमारा हो रहा है
©प्रशान्त पाण्डेय
#Moon