षड् दोषा: पुरुषेणेह हातव्या भूतिमिच्छता। निद्रा त | English Bhakti

"षड् दोषा: पुरुषेणेह हातव्या भूतिमिच्छता। निद्रा तन्द्रा भयं क्रोध आलस्यं दीर्घसूत्रता।। यदि मनुष्य सुख चाहता है तो उसे छह बुराइयों से बचना चाहिए। निद्रा उनींदापन भय क्रोध आलस्य दीर्घ कष्ट। Six evils a man must avoid here if he desires happiness. drowsiness fear anger laziness long-suffering. Dhanywaad Har Har Mahadev ©Mohan raj"

 षड् दोषा: पुरुषेणेह हातव्या भूतिमिच्छता। 
निद्रा तन्द्रा भयं क्रोध आलस्यं दीर्घसूत्रता।।
यदि मनुष्य सुख चाहता है तो उसे छह बुराइयों से बचना चाहिए। 
 निद्रा उनींदापन भय क्रोध आलस्य दीर्घ कष्ट।
Six evils a man must avoid here if he desires happiness. 
  drowsiness fear anger laziness long-suffering.
Dhanywaad Har Har Mahadev

©Mohan raj

षड् दोषा: पुरुषेणेह हातव्या भूतिमिच्छता। निद्रा तन्द्रा भयं क्रोध आलस्यं दीर्घसूत्रता।। यदि मनुष्य सुख चाहता है तो उसे छह बुराइयों से बचना चाहिए। निद्रा उनींदापन भय क्रोध आलस्य दीर्घ कष्ट। Six evils a man must avoid here if he desires happiness. drowsiness fear anger laziness long-suffering. Dhanywaad Har Har Mahadev ©Mohan raj

#Life Lessons Shiv Bhakti Six evils a man must avoid here if he desires happiness.
drowsiness fear anger laziness long-suffering.

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