Mystery ज्ञात और अज्ञात संसार में हमारा अस्तित्व श्वास पर ही निर्भर है,
यदि श्वास हममें बनी रहती है तो हम मायावी
जगत के वासी हैं और यदि यह रुक जाती है
तो हम अज्ञात ब्रह्मांड के रहस्य हैं।
Our existence in the known and unknown
world is dependent on the breath,
If the breath remains in us then we are the inhabitants of the illusory world and if it
stops then we are the mystery of the
unknown universe.
©Dr Bibhash C Jha
#mystery