हार कर रुकता नहीं जो
उसी मे कुछ बात है।
किसी ने क्या खूब कहा
हर दिन नई शुरुआत हैं।
हार के गम में ही रहना
कायरों की जात हैं।
शस्त्र उठा, कूच कर
हर दिन नई शुरुआत है।
तेरी ताक़त तेरी किस्मत
खुद तेरे ही हाथ है।
जाग जा तैयार हो,
हर दिन नई शुरुआत है।
✍rishU