#NationalEducationDay भीख देकर मुझे बर्बाद कर रहे हो
सोचते हो जैसे एहसान कर रहे हो
कभी सोचा है यही भीख हमें मारती है
अनजाने में ही हमें लाचार कर रहे हो
हमें खबर क्या दुनिया की
दुनिया दारी क्या हम जानें
बेबसी लाचारी से ये हाथ फैलाए
दे कर रुपया मेरी मुट्ठी बंद कर रहे हो।
शैतान यहां बैठे हैं जो रखते हैं मुझपर नज़र
कहीं भाग ना जाऊं वो इसकी भी रखते हैं ख़बर
तुम तो समझदार और साक्षर हो
फिर भी ये गुनाह हर रोज कर रहे हो।
प्यार शिक्षा परिवार इज्जत चाहिए
हथेली पर चंद सिक्के रख भिखारी मत बनाओ
मुझे बनना है कुछ अपने नाम से
आखिर क्यों हमें इस नर्क में जीने को मजबूर कर रहे हो ?
©शून्य
भिखारी क्यों बना ?
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