सिक्ख की पगड़ी को तुम रोक सकोगे औरतों की घूंघट को | हिंदी विचार

"सिक्ख की पगड़ी को तुम रोक सकोगे औरतों की घूंघट को तुम रोक सकोगे। धर्म के नंगे नाच को तुम रोक सकोगे। नेताओ के झूठे वादों को तुम रोक सकोगे। फर्क लिंग भेद के तुम रोक सकोगे। जो जीता है जीने दो उसको। क्यों हर बार रंग का नाम लेते हो।। खुद लहू लेते वक्त रोक सकोगे।। मत बहो इन रंगो की नदियों में। डूब मर मर जाओगे एक दिन। आज वक्त है पढ़ को दूर साहिल जाओगे एक दिन।। क्यों बर्बाद करते हो जवानी अपनी ए दोस्तो। धर्म के धंधे में मर जाओगे एक दिन।। रवि......✍️✍️ ©ravi parihar"

 सिक्ख की पगड़ी को  तुम रोक सकोगे
औरतों की घूंघट को  तुम रोक सकोगे।
धर्म के नंगे नाच को तुम  रोक सकोगे।
नेताओ के झूठे वादों को  तुम रोक सकोगे।
फर्क लिंग भेद के तुम रोक सकोगे।

जो जीता है जीने दो उसको।
क्यों हर बार रंग का नाम लेते हो।।

 खुद लहू लेते वक्त  रोक सकोगे।।

मत बहो इन रंगो की नदियों में।
डूब मर मर जाओगे एक दिन।
आज वक्त है पढ़ को दूर साहिल जाओगे एक दिन।।

क्यों बर्बाद करते हो जवानी अपनी ए दोस्तो।
धर्म के धंधे में मर जाओगे एक दिन।।


रवि......✍️✍️

©ravi parihar

सिक्ख की पगड़ी को तुम रोक सकोगे औरतों की घूंघट को तुम रोक सकोगे। धर्म के नंगे नाच को तुम रोक सकोगे। नेताओ के झूठे वादों को तुम रोक सकोगे। फर्क लिंग भेद के तुम रोक सकोगे। जो जीता है जीने दो उसको। क्यों हर बार रंग का नाम लेते हो।। खुद लहू लेते वक्त रोक सकोगे।। मत बहो इन रंगो की नदियों में। डूब मर मर जाओगे एक दिन। आज वक्त है पढ़ को दूर साहिल जाओगे एक दिन।। क्यों बर्बाद करते हो जवानी अपनी ए दोस्तो। धर्म के धंधे में मर जाओगे एक दिन।। रवि......✍️✍️ ©ravi parihar

#Religion

People who shared love close

More like this

Trending Topic