White काया तेरी जैसे कमल है
सुंदरता भी ताजमहल है
कैसे तुझको शब्दों में गाऊँ
तू मेरी सादी सी गजल है
तू चाहत की जैसे पहल है
पूरे चांद की जैसे नकल है
तेरे बिना मुझे चैन कहाँ है
तू मेरी सादी सी गजल है
श्रृंगार देखो कितना सरल है
मतवाले दो नैना जैसे गरल है
तेरे बिना अब चैन न पाऊं
तू मेरी सादी सी गजल है
😊
अल्फ़ाज़-ए-नीरज✍️
©Niraj Pandey
#GoodMorning