White किसी ने क्या खूब कहा है ,
सुकून मकानों में नही ,घरों में होती है,
सुकून खाने में नहीं, प्यार से परोसे हुए खाने में होती है,
सुकून लोगों के साथ रहने में नहीं, अपनों के साथ रहने में होती है,
हस्ते तो हम अपनों से दूर रह के भी है,
लेकिन मुस्कान तो अपनों से मिलती है
मुस्कान तो अपनों से ही मिलती है।
©sahil sahu
#sad_shayari