हम मिले थे किसी रोज इत्तेफाक से, इश्क़ में पड़कर, | हिंदी Love
"हम मिले थे किसी रोज इत्तेफाक से,
इश्क़ में पड़कर, मैंने चमत्कार लिख दिया ।
उसके लबों से पसीने महकती थी गैर मर्दों के,
अंजाने में मैंने,हवस को प्यार लिख दिया ।।"
हम मिले थे किसी रोज इत्तेफाक से,
इश्क़ में पड़कर, मैंने चमत्कार लिख दिया ।
उसके लबों से पसीने महकती थी गैर मर्दों के,
अंजाने में मैंने,हवस को प्यार लिख दिया ।।