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Write about a time when someone made you feel understood.#my_feelings Wallpaper.
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Nitu Singh जज़्बातदिलके
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Diptimayee Nayak
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Mehfil-e-Mohabbat
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तुम्हे तलब कहूँ ख्वाइश कहूँ या जिंदगी..! तुमसे तुम तक का सफर है मेरी जिंदगी..!! ©Shital Raj Kishore
Shital Raj Kishore
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लगा कर माथे पे आ गई वो एक प्यारी सी बिंदी चांद से चेहरे पर नूर बनकर छा गई वो प्यारी सी बिंदी और हम तो पहले ही हारे बैठे थे दिल तेरी सादगी पे आज मेरे दिल में समा गई तेरी वो प्यारी सी बिंदी!! लगाकर बिंदी तूने आज कोई जादू चला दिया एक पागल को तूने देख दीवाना बना दिया तेरी बिंदी ने देख कैसा ये मुझपे सितम किया चुराकर नींद आंखों से मुझे सारी रात जगा दिया!! यूं तो पहले भी निहारती थी तुझे मेरी आंखे पर आज तेरे चेहरे से हटी ही नही ये मेरी आंखे ना उम्मीद कोई और ना ही कोई ख्वाहिश थी मेरे दिल में फिर भी बस तुझको ही एकटक देखती रही मेरी आंखे!! आंखों से उतरकर तू मेरे दिल में समा गई दिन का पता ही नही चला और ये खमबख्त शाम आ गई और वैसे तो रात भर मैं सो ना सका ख्यालों में तेरे पर जरा सी आंख क्या लगी तू मेरे सपने में आ गई!! कवि : इंद्रेश द्विवेदी (पंकज) ©Indresh Dwivedi
Indresh Dwivedi
आज चांद देख कर तुम्हारी याद आ गई, तुम जब मुस्कुराते हो न मुझे देख कर, तुम्हारा चांद सा चेहरा खिल उठता है। तुम्हारी चंचल आखें ना जानें, कितना कुछ बयान कर जाती है, जैसे वो इज़हार कर रही हो। चुपके से आके इशारा करना, मुझे नए उर्जा से भर देती है, मानों मेरे सपनों को पंख लग गए हों। जब तुम खामोश होते हो, तो जैसे वक्त रुक जाता है, जैसे तूफान ने कश्ती को रोक लिया हो। तुम से बिछड़ कर मैं, अधूरी हो जाती हूं, जैसे शरीर से पृथक प्राण। ©Dt Sapna Nova
Dt Sapna Nova
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