ज्ञात हुआ यम आने को है ले अपनी काली हाला पंडित अपन
"ज्ञात हुआ यम आने को है ले अपनी काली हाला
पंडित अपनी पोथी भूला, साधू भूल गया माला
और पुजारी भूला पूजा, ज्ञान सभी ज्ञानी भूला
किन्तु न भूला मरकर के भी पीनेवाला मधुशाला"
ज्ञात हुआ यम आने को है ले अपनी काली हाला
पंडित अपनी पोथी भूला, साधू भूल गया माला
और पुजारी भूला पूजा, ज्ञान सभी ज्ञानी भूला
किन्तु न भूला मरकर के भी पीनेवाला मधुशाला