वक़्त घड़ी की सुईओं के साथ बीत रहा था, और एकाएक मुझे एहसास हुआ कि अब मुझे जगना होगा वरना जिन्दगी का पहिया गहरे कीचड़ के दलदल में धंसने को तैयार हैं motivation speech#written by Arjun Singh# Quotes, Shayari, Story, Poem, Jokes, Memes On Nojoto