जिन्दगी में समय और परिस्थिति के अनुसार हमे अंजाने | हिंदी कविता

"जिन्दगी में समय और परिस्थिति के अनुसार हमे अंजाने लोग मिलते हैं और धीरे धीरे वो हमारे दुःख और ख़ुशी में साथ रहते हैं बहुत ज्यादा नजदीक बन जाते हैं जिन्हें हम दोस्त कहते हैं पंचतत्व मैं हूँ तो इसके प्राण हैै दोस्त मेरे परिणाम है जिन्दगी तो करम है दोस्त मेरे ये घाव है जिन्दगी तो मरहम है दोस्त मेरे जिन्दगी आभास तो विश्वास है दोस्त मेरे जब हार है जिन्दगी तो आस है दोस्त मेरे मैं अगर हूँ सितारा तो वो चाँद है दोस्त मेरे @dineshparmar"

 जिन्दगी में समय और परिस्थिति के 
अनुसार हमे अंजाने लोग मिलते हैं 
और धीरे धीरे वो हमारे दुःख और
 ख़ुशी में साथ रहते हैं बहुत ज्यादा 
नजदीक बन जाते हैं जिन्हें हम दोस्त कहते हैं 


पंचतत्व मैं हूँ तो इसके प्राण हैै दोस्त मेरे 
परिणाम है जिन्दगी तो करम है दोस्त मेरे
ये घाव है जिन्दगी तो मरहम है दोस्त मेरे
जिन्दगी आभास तो विश्वास है दोस्त मेरे
जब हार है जिन्दगी तो आस है दोस्त मेरे
मैं अगर हूँ सितारा तो वो चाँद है दोस्त मेरे
@dineshparmar

जिन्दगी में समय और परिस्थिति के अनुसार हमे अंजाने लोग मिलते हैं और धीरे धीरे वो हमारे दुःख और ख़ुशी में साथ रहते हैं बहुत ज्यादा नजदीक बन जाते हैं जिन्हें हम दोस्त कहते हैं पंचतत्व मैं हूँ तो इसके प्राण हैै दोस्त मेरे परिणाम है जिन्दगी तो करम है दोस्त मेरे ये घाव है जिन्दगी तो मरहम है दोस्त मेरे जिन्दगी आभास तो विश्वास है दोस्त मेरे जब हार है जिन्दगी तो आस है दोस्त मेरे मैं अगर हूँ सितारा तो वो चाँद है दोस्त मेरे @dineshparmar

#Importance_of_friends

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