पहली मोहब्बत ....
सुकून दिल में तो आंखों में भी थोड़ी नमीं थी .
अरे ये कोई गम नही ,
उसके प्यार से सिंची हुई जमीं थी .
एक दौर आया मोहब्बत में
जब आंखे ही कुछ उलझ सी गई ,
वो बचकानी सी हरकतें करने वाली
सहसा कुछ सुलझ सी गई ,
वो चली गई कुछ मजबूरियां बताकर
और लड़का रह गया वहीं खड़ा था
मां इस कहानी में किसका कसूर बड़ा था ....
©Suraj pandey