बारिशों में छुप के जितना रोया हूँ तुमको भी उतना कभी रोना पड़ेगा सिर्फ़ मेरा टूटना काफी नही है तुमको भी तो मुंतशिर होना पड़ेगा.
1 Stories
4 Love
Will restore all stories present before deactivation.
It may take sometime to restore your stories.
Continue with Social Accounts
Facebook Googleor already have account Login Here