पतियों के हाथों
मार खाई
कुछ महिलाओं नें
अपने जख्मों को सहलाते हुए
इज्जत , मान सम्मान दे
और उन्हें प्यार करे ऐसे
अनदेखे प्रेमियों के बारे
कल्पनायें की
और कुछ नें उसी घाव को परचम बना
अपनी सफलताओं
की कहानियां लिखी
बाकी बची शेष महिलाओं नें
एक के ऊपर तालियाँ बजाई
और दूसरे को चरित्रहीन साबित किया
क्यूंकि अभी भी कुछ महिलायें
डरती हैं
उन महिलाओं से जो
आत्मनिर्भर है .....
- शिल्पी कृष्णा ।
मौलिक व स्वरचित
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