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White काफ़ी ताने मिले खाली जमीं के टुकडे को कभी इमारत बनी तो बदल गए तारीफों में सब के सब ....! ©gaTTubaba

#शायरी #sad_quotes  White काफ़ी ताने मिले खाली जमीं के टुकडे को कभी
इमारत बनी तो बदल गए तारीफों में सब के सब ....!

©gaTTubaba

#sad_quotes काफ़ी ताने मिले खाली जमीं के टुकडे को कभी इमारत बनी तो बदल गए तारीफों में सब के सब ....!

15 Love

White नियत ही नियति हैं।। ©Updated Mirzapuri

#नियति #नियत #Bhakti #Shiva  White नियत ही नियति हैं।।

©Updated Mirzapuri

तुमने तो गिरा डाली., एक लम्हें में ये इमारत....!!# ~★~ अरसे लगेंगे हमको., अब ये मलबा हटाने में.....!!# ©s गोल्डी

 तुमने तो गिरा डाली.,
                 एक लम्हें में ये इमारत....!!#

~★~

अरसे लगेंगे हमको.,
               अब ये मलबा हटाने में.....!!#

©s गोल्डी

तुमने तो गिरा डाली., एक लम्हें में ये इमारत....!!# ~★~ अरसे लगेंगे हमको., अब ये मलबा हटाने में.....!!#

10 Love

लहज़े बता देते है इंसान की नियत 👧👧........ sad shayari 2 line love shayari in english @Sm@rty Divi P@ndey "सीमा"अमन सिंह @Neel भुट कुन

1206 View

White ख़िज़ाँ की ज़र्द सी रंगत बदल भी सकती है बहार आने की सूरत निकल भी सकती है जला के शम्मा अब उठ उठ के देखना छोड़ो वो ज़िम्मेदारी से अज़-ख़ुद पिघल भी सकती है है शर्त सुब्ह के रस्ते से हो के शाम आए तो रात उस को सहर में बदल भी सकती है ज़रा सँभल के जलाना अक़ीदतों के चराग़ भड़क न जाएँ कि मसनद ये जल भी सकती है अभी तो चाक पे जारी है रक़्स . मिट्टी का अभी कुम्हार की निय्यत बदल भी सकती हैं कोई ज़रूरी नहीं वो ही दिल को शाद करे सागर.. ख़ुद तबीअत बहल भी सकती है ©Sagar Sheikhpura

#नियत  White ख़िज़ाँ की ज़र्द सी रंगत बदल भी सकती है
बहार आने की सूरत निकल भी सकती है

जला के शम्मा अब उठ उठ के देखना छोड़ो
वो ज़िम्मेदारी से अज़-ख़ुद पिघल भी सकती है

है शर्त सुब्ह के रस्ते से हो के शाम आए
तो रात उस को सहर में बदल भी सकती है

ज़रा सँभल के जलाना अक़ीदतों के चराग़
भड़क न जाएँ कि मसनद ये जल भी सकती है

अभी तो चाक पे जारी है रक़्स . मिट्टी का 
अभी कुम्हार की निय्यत बदल भी सकती हैं 

कोई ज़रूरी नहीं वो ही दिल को शाद करे
सागर.. ख़ुद तबीअत बहल भी सकती है

©Sagar Sheikhpura

#नियत

12 Love

#कविता  White ये ऊंची ऊंची इमारत,
अजब गजब है मेरा भारत।
इनका इतिहास है
बहुत पुराना,
खोज जारी है 
पूर्णरूप से किसी ने नहीं जाना।
रहस्यमई चीजों का है
अद्भुत खजाना ।
वीरों की भूमि है
जिसका हर भारतीय है दीवाना,
इसे देवभूमि कहा जाता है 
जिसे जाने सारा जमाना।
स्त्रियों को भी यहां पूजा जाता है 
ये सबने है माना,
यहां सब धर्मों के लोग रहते हैं 
लोकतंत्र का है जमाना।
अपनी बात कहने की आजादी है 
यहां घनी आबादी है।

©Shishpal Chauhan

# ये इमारत

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White काफ़ी ताने मिले खाली जमीं के टुकडे को कभी इमारत बनी तो बदल गए तारीफों में सब के सब ....! ©gaTTubaba

#शायरी #sad_quotes  White काफ़ी ताने मिले खाली जमीं के टुकडे को कभी
इमारत बनी तो बदल गए तारीफों में सब के सब ....!

©gaTTubaba

#sad_quotes काफ़ी ताने मिले खाली जमीं के टुकडे को कभी इमारत बनी तो बदल गए तारीफों में सब के सब ....!

15 Love

White नियत ही नियति हैं।। ©Updated Mirzapuri

#नियति #नियत #Bhakti #Shiva  White नियत ही नियति हैं।।

©Updated Mirzapuri

तुमने तो गिरा डाली., एक लम्हें में ये इमारत....!!# ~★~ अरसे लगेंगे हमको., अब ये मलबा हटाने में.....!!# ©s गोल्डी

 तुमने तो गिरा डाली.,
                 एक लम्हें में ये इमारत....!!#

~★~

अरसे लगेंगे हमको.,
               अब ये मलबा हटाने में.....!!#

©s गोल्डी

तुमने तो गिरा डाली., एक लम्हें में ये इमारत....!!# ~★~ अरसे लगेंगे हमको., अब ये मलबा हटाने में.....!!#

10 Love

लहज़े बता देते है इंसान की नियत 👧👧........ sad shayari 2 line love shayari in english @Sm@rty Divi P@ndey "सीमा"अमन सिंह @Neel भुट कुन

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White ख़िज़ाँ की ज़र्द सी रंगत बदल भी सकती है बहार आने की सूरत निकल भी सकती है जला के शम्मा अब उठ उठ के देखना छोड़ो वो ज़िम्मेदारी से अज़-ख़ुद पिघल भी सकती है है शर्त सुब्ह के रस्ते से हो के शाम आए तो रात उस को सहर में बदल भी सकती है ज़रा सँभल के जलाना अक़ीदतों के चराग़ भड़क न जाएँ कि मसनद ये जल भी सकती है अभी तो चाक पे जारी है रक़्स . मिट्टी का अभी कुम्हार की निय्यत बदल भी सकती हैं कोई ज़रूरी नहीं वो ही दिल को शाद करे सागर.. ख़ुद तबीअत बहल भी सकती है ©Sagar Sheikhpura

#नियत  White ख़िज़ाँ की ज़र्द सी रंगत बदल भी सकती है
बहार आने की सूरत निकल भी सकती है

जला के शम्मा अब उठ उठ के देखना छोड़ो
वो ज़िम्मेदारी से अज़-ख़ुद पिघल भी सकती है

है शर्त सुब्ह के रस्ते से हो के शाम आए
तो रात उस को सहर में बदल भी सकती है

ज़रा सँभल के जलाना अक़ीदतों के चराग़
भड़क न जाएँ कि मसनद ये जल भी सकती है

अभी तो चाक पे जारी है रक़्स . मिट्टी का 
अभी कुम्हार की निय्यत बदल भी सकती हैं 

कोई ज़रूरी नहीं वो ही दिल को शाद करे
सागर.. ख़ुद तबीअत बहल भी सकती है

©Sagar Sheikhpura

#नियत

12 Love

#कविता  White ये ऊंची ऊंची इमारत,
अजब गजब है मेरा भारत।
इनका इतिहास है
बहुत पुराना,
खोज जारी है 
पूर्णरूप से किसी ने नहीं जाना।
रहस्यमई चीजों का है
अद्भुत खजाना ।
वीरों की भूमि है
जिसका हर भारतीय है दीवाना,
इसे देवभूमि कहा जाता है 
जिसे जाने सारा जमाना।
स्त्रियों को भी यहां पूजा जाता है 
ये सबने है माना,
यहां सब धर्मों के लोग रहते हैं 
लोकतंत्र का है जमाना।
अपनी बात कहने की आजादी है 
यहां घनी आबादी है।

©Shishpal Chauhan

# ये इमारत

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