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रोशन हवेली में रोशन हो गये बाहर आये तो अंधरे में खो गये अब तालुकात इतना ही रखा रिश्तों में मैंने मिले तो मैं उनका और वो मेरे हो गये हरे कृष्ण हरे हरे ©Roopsingh Doi
Roopsingh Doi
9 Love
White मन ही नहीं मन मिलाने के लिए तन ही नहीं तन दिखाने के लिए सकून कहा मिलेगा यहा साहब फुरसत ही नहीं धन कमाने के लिए हरे कृष्ण हरे हरे ©Roopsingh Doi
13 Love
White छोर से देखा तो चमक रहा था गौर से देखा तो महक रहा था नजरिया बदल दिया देखने मैंने इसलिए हर कोई मुझ पर तनक रहा था हरे कृष्ण हरे हरे ©Roopsingh Doi
12 Love
White यहा जलने वाले दिये को एतराज है कि मेरे उजाले में ये किसका राज है मगर कमबख्त कौन सुनता है यहा इसलिए दिये तले अंधरो का राज है हरे कृष्ण हरे हरे ©Roopsingh Doi
निरन्तरता काल की भंग होती जा रही है। संकल्पित साधना मन की रोती जा रही है अधिष्ठात्री माँ किन किन रूपों में आये जनाब, जमाने में सदभावनाओं की सिद्धि खोती जा रही हैं। दशहरा के शुभ अवसर पर माँ सिद्धिदात्री आपकी समस्त मनोकामनाओ को पूर्ण करें हरे कृष्ण हरे हरे ©Roopsingh Doi
White निरन्तरता काल की भंग होती जा रही है। संकल्पित साधना मन की रोती जा रही है अधिष्ठात्री माँ किन किन रूपों में आये जनाब, जमाने में सदभावनाओं की सिद्धि खोती जा रही हैं। दशहरा के शुभ अवसर पर माँ सिद्धिदात्री आपकी समस्त मनोकामनाओ को पूर्ण करें हरे कृष्ण हरे हरे ©Roopsingh Doi
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