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White दर्द ने सिखाया खुद से मिलना, राहों में खो जाने से पहले, ख़ुद को जानना ज़रूरी है, तब जाकर कोई सही रास्ता लगे। हर ख्वाब का पीछा करते हुए, सपनों में खो जाते हैं हम, लेकिन जब वो टूटते हैं, तब महसूस होता है, हम कहाँ थे, कहाँ हम। अक्सर दूसरों की नज़र से ही जीते हैं हम, पर सच्ची पहचान तो अंदर से आती है। जो खुद को समझे, वही खुद को पा सकता है, बाकी सब तो बस एक छलावा होता है। अब मेरी आँखों में बस एक सवाल है, क्या मैं सचमुच खुद से प्यार करता हूँ? जब तक ये सवाल हल नहीं होगा, ख़ुद के ही हाल में, ख़ुद से जूझता रहूँगा। ©Ajita Bansal

#Sad_Status  White दर्द ने सिखाया खुद से मिलना,
राहों में खो जाने से पहले,
ख़ुद को जानना ज़रूरी है,
तब जाकर कोई सही रास्ता लगे।

हर ख्वाब का पीछा करते हुए,
सपनों में खो जाते हैं हम,
लेकिन जब वो टूटते हैं,
तब महसूस होता है, हम कहाँ थे, कहाँ हम।

अक्सर दूसरों की नज़र से ही जीते हैं हम,
पर सच्ची पहचान तो अंदर से आती है।
जो खुद को समझे, वही खुद को पा सकता है,
बाकी सब तो बस एक छलावा होता है।

अब मेरी आँखों में बस एक सवाल है,
क्या मैं सचमुच खुद से प्यार करता हूँ?
जब तक ये सवाल हल नहीं होगा,
ख़ुद के ही हाल में, ख़ुद से जूझता रहूँगा।

©Ajita Bansal

#Sad_Status poem of the day

17 Love

ਤੈਨੂੰ ਵੇਖ ਸਾਨੂੰ ਇੰਝ ਲੱਗਦਾ,"ਜਿਵੇਂ ਰੱਬ ਦੇ ਹੋ ਗਏ ਦੀਦਾਰ ਸੱਜਣਾ ਮੇਰੀ ਰੂਹ ਦਾ ਤੂੰ ਪਹਿਲਾ ਪਿਆਰ ਸੱਜਣਾ ਤੇਰੇ ਪਿਆਰ ਨੂੰ ਅਸੀਂ ਪੂਜਦੇ ਹਾਂ,"ਜਿਵੇਂ ਪੂਜ ਦੇ ਪੀਰਾਂ ਦੀ ਮਜ਼ਾਰ ਸੱਜਣਾ ਮੇਰੀ ਰੂਹ ਦਾ ਤੂੰ ਪਹਿਲਾ ਪਿਆਰ ਸੱਜਣਾ ਬਲਜੀਤ ਮਾਹਲਾ ਤਨ ਮਨ ਆਪਣਾ,"ਤੇਰੇ ਅੱਗੇ ਗਿਆ ਸਭ ਹਾਰ ਸੱਜਣਾ ਮੇਰੀ ਰੂਹ ਦਾ ਤੂੰ ਪਹਿਲਾ ਪਿਆਰ ਸੱਜਣਾ ©BALJEET SINGH MAHLA

 ਤੈਨੂੰ ਵੇਖ ਸਾਨੂੰ ਇੰਝ ਲੱਗਦਾ,"ਜਿਵੇਂ ਰੱਬ ਦੇ ਹੋ ਗਏ ਦੀਦਾਰ ਸੱਜਣਾ 
ਮੇਰੀ ਰੂਹ ਦਾ ਤੂੰ ਪਹਿਲਾ ਪਿਆਰ ਸੱਜਣਾ
ਤੇਰੇ ਪਿਆਰ ਨੂੰ ਅਸੀਂ ਪੂਜਦੇ ਹਾਂ,"ਜਿਵੇਂ ਪੂਜ ਦੇ ਪੀਰਾਂ ਦੀ ਮਜ਼ਾਰ ਸੱਜਣਾ 
ਮੇਰੀ ਰੂਹ ਦਾ ਤੂੰ ਪਹਿਲਾ ਪਿਆਰ ਸੱਜਣਾ 
ਬਲਜੀਤ ਮਾਹਲਾ ਤਨ ਮਨ ਆਪਣਾ,"ਤੇਰੇ ਅੱਗੇ ਗਿਆ ਸਭ ਹਾਰ ਸੱਜਣਾ
ਮੇਰੀ ਰੂਹ ਦਾ ਤੂੰ ਪਹਿਲਾ ਪਿਆਰ ਸੱਜਣਾ

©BALJEET SINGH MAHLA

कीचड़ में कमल बारिश की बूंदें। बूंदों से बना समंदर। बारिश में बह गई मिट्टी घर के अंदर। मिट्टी बहते-रुकते कीचड़ बन गई। पर, इस समंदर से कीचड़ सब धुल गई। हो चला एहसास, अब जल्द होगा वास, अपने घर में। हां, अपने घर में! जहां न सिर्फ दीवारें, पर होंगे सुकून सारे। वो घर,आंगन,कमरा मेरा, होगा घर जीता जागता। इस कीचड़ से कमल खिलेंगे। दिल के सब तार जुड़ेंगे। सारंगी के सुर तरंग बजेंगे। बस, अब बहुत, बहुत जल्द हम अपने सपने, अपने घर मे ©Nina

#कविता #lotus  कीचड़ में कमल

बारिश की बूंदें।
बूंदों से बना समंदर।
बारिश में बह गई
मिट्टी घर के अंदर।

मिट्टी बहते-रुकते
कीचड़ बन गई।
पर, इस समंदर से
कीचड़ सब धुल गई।

हो चला एहसास,
अब जल्द होगा वास,
अपने घर में।
हां, अपने घर में!

जहां  न सिर्फ दीवारें,
पर होंगे सुकून सारे।
वो घर,आंगन,कमरा मेरा,
होगा घर जीता जागता।

इस कीचड़ से कमल खिलेंगे।
दिल के सब तार जुड़ेंगे।
सारंगी के सुर तरंग बजेंगे।
बस, अब बहुत, बहुत जल्द
हम अपने सपने, अपने घर मे

©Nina

#lotus हिंदी कविता

11 Love

मेहनत का फल और समस्या का हल देर से ही सही लेकिन मिलता ज़रूर है! ©quotes in life

#Trending #Quotes #power #lotus  मेहनत का फल और समस्या का हल
देर से ही सही लेकिन मिलता ज़रूर है!

©quotes in life

#lotus #Knowledge is #power #Nojoto #Trending

17 Love

दिलकश, हसीन, माशूक, हर अल्फाज कम है, कुदरत की नायाब खूबसूरती के लिए! ©Dr. Nishi Ras (Nawabi kudi)

#lotus  दिलकश, हसीन, माशूक,
हर अल्फाज कम है,
 कुदरत की नायाब खूबसूरती के लिए!

©Dr. Nishi Ras (Nawabi kudi)

Upcoming Book #lotus

11 Love

#Thinking  White वो रास्ते भी क्या रास्ते थे,
जो हमें मंज़िल तक ले जाते थे।
कभी धूप में, कभी छाँव में,
हम चलते रहे, सफ़र के साथ।

हर मोड़ पर, हर इक ठहराव में,
मिले हमसे कुछ किस्से नए।
कभी हँसाए, कभी रुलाए,
वो रास्ते भी हमें सिखाते गए।

कभी ठोकरें खाईं, कभी गिरकर उठे,
मंज़िल की ओर बढ़ते गए।
वो रास्ते हमें समझाते रहे,
कि संघर्ष ही है असली जीत का रास्ता।

©Ajita Bansal

#Thinking poem of the day

207 View

White दर्द ने सिखाया खुद से मिलना, राहों में खो जाने से पहले, ख़ुद को जानना ज़रूरी है, तब जाकर कोई सही रास्ता लगे। हर ख्वाब का पीछा करते हुए, सपनों में खो जाते हैं हम, लेकिन जब वो टूटते हैं, तब महसूस होता है, हम कहाँ थे, कहाँ हम। अक्सर दूसरों की नज़र से ही जीते हैं हम, पर सच्ची पहचान तो अंदर से आती है। जो खुद को समझे, वही खुद को पा सकता है, बाकी सब तो बस एक छलावा होता है। अब मेरी आँखों में बस एक सवाल है, क्या मैं सचमुच खुद से प्यार करता हूँ? जब तक ये सवाल हल नहीं होगा, ख़ुद के ही हाल में, ख़ुद से जूझता रहूँगा। ©Ajita Bansal

#Sad_Status  White दर्द ने सिखाया खुद से मिलना,
राहों में खो जाने से पहले,
ख़ुद को जानना ज़रूरी है,
तब जाकर कोई सही रास्ता लगे।

हर ख्वाब का पीछा करते हुए,
सपनों में खो जाते हैं हम,
लेकिन जब वो टूटते हैं,
तब महसूस होता है, हम कहाँ थे, कहाँ हम।

अक्सर दूसरों की नज़र से ही जीते हैं हम,
पर सच्ची पहचान तो अंदर से आती है।
जो खुद को समझे, वही खुद को पा सकता है,
बाकी सब तो बस एक छलावा होता है।

अब मेरी आँखों में बस एक सवाल है,
क्या मैं सचमुच खुद से प्यार करता हूँ?
जब तक ये सवाल हल नहीं होगा,
ख़ुद के ही हाल में, ख़ुद से जूझता रहूँगा।

©Ajita Bansal

#Sad_Status poem of the day

17 Love

ਤੈਨੂੰ ਵੇਖ ਸਾਨੂੰ ਇੰਝ ਲੱਗਦਾ,"ਜਿਵੇਂ ਰੱਬ ਦੇ ਹੋ ਗਏ ਦੀਦਾਰ ਸੱਜਣਾ ਮੇਰੀ ਰੂਹ ਦਾ ਤੂੰ ਪਹਿਲਾ ਪਿਆਰ ਸੱਜਣਾ ਤੇਰੇ ਪਿਆਰ ਨੂੰ ਅਸੀਂ ਪੂਜਦੇ ਹਾਂ,"ਜਿਵੇਂ ਪੂਜ ਦੇ ਪੀਰਾਂ ਦੀ ਮਜ਼ਾਰ ਸੱਜਣਾ ਮੇਰੀ ਰੂਹ ਦਾ ਤੂੰ ਪਹਿਲਾ ਪਿਆਰ ਸੱਜਣਾ ਬਲਜੀਤ ਮਾਹਲਾ ਤਨ ਮਨ ਆਪਣਾ,"ਤੇਰੇ ਅੱਗੇ ਗਿਆ ਸਭ ਹਾਰ ਸੱਜਣਾ ਮੇਰੀ ਰੂਹ ਦਾ ਤੂੰ ਪਹਿਲਾ ਪਿਆਰ ਸੱਜਣਾ ©BALJEET SINGH MAHLA

 ਤੈਨੂੰ ਵੇਖ ਸਾਨੂੰ ਇੰਝ ਲੱਗਦਾ,"ਜਿਵੇਂ ਰੱਬ ਦੇ ਹੋ ਗਏ ਦੀਦਾਰ ਸੱਜਣਾ 
ਮੇਰੀ ਰੂਹ ਦਾ ਤੂੰ ਪਹਿਲਾ ਪਿਆਰ ਸੱਜਣਾ
ਤੇਰੇ ਪਿਆਰ ਨੂੰ ਅਸੀਂ ਪੂਜਦੇ ਹਾਂ,"ਜਿਵੇਂ ਪੂਜ ਦੇ ਪੀਰਾਂ ਦੀ ਮਜ਼ਾਰ ਸੱਜਣਾ 
ਮੇਰੀ ਰੂਹ ਦਾ ਤੂੰ ਪਹਿਲਾ ਪਿਆਰ ਸੱਜਣਾ 
ਬਲਜੀਤ ਮਾਹਲਾ ਤਨ ਮਨ ਆਪਣਾ,"ਤੇਰੇ ਅੱਗੇ ਗਿਆ ਸਭ ਹਾਰ ਸੱਜਣਾ
ਮੇਰੀ ਰੂਹ ਦਾ ਤੂੰ ਪਹਿਲਾ ਪਿਆਰ ਸੱਜਣਾ

©BALJEET SINGH MAHLA

कीचड़ में कमल बारिश की बूंदें। बूंदों से बना समंदर। बारिश में बह गई मिट्टी घर के अंदर। मिट्टी बहते-रुकते कीचड़ बन गई। पर, इस समंदर से कीचड़ सब धुल गई। हो चला एहसास, अब जल्द होगा वास, अपने घर में। हां, अपने घर में! जहां न सिर्फ दीवारें, पर होंगे सुकून सारे। वो घर,आंगन,कमरा मेरा, होगा घर जीता जागता। इस कीचड़ से कमल खिलेंगे। दिल के सब तार जुड़ेंगे। सारंगी के सुर तरंग बजेंगे। बस, अब बहुत, बहुत जल्द हम अपने सपने, अपने घर मे ©Nina

#कविता #lotus  कीचड़ में कमल

बारिश की बूंदें।
बूंदों से बना समंदर।
बारिश में बह गई
मिट्टी घर के अंदर।

मिट्टी बहते-रुकते
कीचड़ बन गई।
पर, इस समंदर से
कीचड़ सब धुल गई।

हो चला एहसास,
अब जल्द होगा वास,
अपने घर में।
हां, अपने घर में!

जहां  न सिर्फ दीवारें,
पर होंगे सुकून सारे।
वो घर,आंगन,कमरा मेरा,
होगा घर जीता जागता।

इस कीचड़ से कमल खिलेंगे।
दिल के सब तार जुड़ेंगे।
सारंगी के सुर तरंग बजेंगे।
बस, अब बहुत, बहुत जल्द
हम अपने सपने, अपने घर मे

©Nina

#lotus हिंदी कविता

11 Love

मेहनत का फल और समस्या का हल देर से ही सही लेकिन मिलता ज़रूर है! ©quotes in life

#Trending #Quotes #power #lotus  मेहनत का फल और समस्या का हल
देर से ही सही लेकिन मिलता ज़रूर है!

©quotes in life

#lotus #Knowledge is #power #Nojoto #Trending

17 Love

दिलकश, हसीन, माशूक, हर अल्फाज कम है, कुदरत की नायाब खूबसूरती के लिए! ©Dr. Nishi Ras (Nawabi kudi)

#lotus  दिलकश, हसीन, माशूक,
हर अल्फाज कम है,
 कुदरत की नायाब खूबसूरती के लिए!

©Dr. Nishi Ras (Nawabi kudi)

Upcoming Book #lotus

11 Love

#Thinking  White वो रास्ते भी क्या रास्ते थे,
जो हमें मंज़िल तक ले जाते थे।
कभी धूप में, कभी छाँव में,
हम चलते रहे, सफ़र के साथ।

हर मोड़ पर, हर इक ठहराव में,
मिले हमसे कुछ किस्से नए।
कभी हँसाए, कभी रुलाए,
वो रास्ते भी हमें सिखाते गए।

कभी ठोकरें खाईं, कभी गिरकर उठे,
मंज़िल की ओर बढ़ते गए।
वो रास्ते हमें समझाते रहे,
कि संघर्ष ही है असली जीत का रास्ता।

©Ajita Bansal

#Thinking poem of the day

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