सफर में जिसने ठोकर खाई वो एतबार था..
जो गिरकर बिखर
  • Latest
  • Popular
  • Video

सफर में जिसने ठोकर खाई वो एतबार था.. जो गिरकर बिखर गई वो मोहब्ब्त थी.. इश्क में हम हारे सो हारे, हमे हराकर तुम तो जीत गए होते.. हमने नींद खोई सो खोई, हमे जगाकर तुम तो सो गए होते.. यहां मोहब्बत कपड़े भी बदलती है नंगी भी होती है, नई नस्ल है रांझे, सूरत के पार कहा सीरत होती है.. अब बुझा दो वफा का चिराग अपना, क्योंकि यहां हीर जेवर भी बदलती है और तेवर भी.. ©Saurabh

 सफर में जिसने ठोकर खाई वो एतबार था..
जो गिरकर बिखर गई वो मोहब्ब्त थी..

इश्क में हम हारे सो हारे,
हमे हराकर तुम तो जीत गए होते..

हमने नींद खोई सो खोई,
हमे जगाकर तुम तो सो गए होते..

यहां मोहब्बत कपड़े भी बदलती है नंगी भी होती है,
नई नस्ल है रांझे, सूरत के पार कहा सीरत होती है..

अब बुझा दो वफा का चिराग अपना,
क्योंकि यहां हीर जेवर भी बदलती है और तेवर भी..

©Saurabh

सफर में जिसने ठोकर खाई वो एतबार था.. जो गिरकर बिखर गई वो मोहब्ब्त थी.. इश्क में हम हारे सो हारे, हमे हराकर तुम तो जीत गए होते.. हमने नींद खोई सो खोई, हमे जगाकर तुम तो सो गए होते.. यहां मोहब्बत कपड़े भी बदलती है नंगी भी होती है, नई नस्ल है रांझे, सूरत के पार कहा सीरत होती है.. अब बुझा दो वफा का चिराग अपना, क्योंकि यहां हीर जेवर भी बदलती है और तेवर भी.. ©Saurabh

9 Love

Trending Topic