Kabir Thakur

Kabir Thakur Lives in New Delhi, Delhi, India

#अधूरा_शायर..... INSTAGRAM - ohkabira43

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मैं क्या तारे तोड़ के लाता उसके लिए चाँद भी जिसको छत पे आकर मिल जाता हैं ! इश्क़ में तुमको हाँ कहने में दिक़्क़त क्या है घर बैठे बंदे को नौकर मिल जाता है ! ©Kabir Thakur

#thelunarcycle  मैं क्या तारे तोड़ के लाता उसके लिए
चाँद भी जिसको छत पे आकर मिल जाता हैं !

इश्क़ में तुमको हाँ कहने में दिक़्क़त क्या है
घर बैठे बंदे को नौकर मिल जाता है !

©Kabir Thakur

मैं चाहूँ भी तो तुमको पा नही सकता और ये बात किसी को समझा नही सकता ! मेरा दिल भी इसी बात को सोच कर रोता है ऐसी क्या मोहब्बत हैं जो जाता नही सकता ! हर रात की अब यही हक़ीक़त है के एक दिल है जिसकी आंखों में उम्मीद रोती हैं 1 मेरा दिल हैं ! जो हो चुका है क्या वह उस हक़ीक़त को रोता है या जो हो ना सका वो हो जाये इस उम्मीद को रोता हैं ! मेरा दिल ना समझ हैं मानता नही मैं चाहूँ भी तो तुमको पा नही सकता और ये बात किसी को समझा नही सकता ! #कबीर..... ©Kabir Thakur

#कबीर #rosepetal  मैं चाहूँ भी तो तुमको पा नही सकता
और ये बात किसी को समझा नही सकता !

मेरा दिल भी इसी बात को सोच कर रोता है 
ऐसी क्या मोहब्बत हैं जो जाता नही सकता !

हर रात की अब यही हक़ीक़त है
के एक दिल है जिसकी आंखों में उम्मीद रोती हैं 1
 
मेरा दिल हैं !

जो हो चुका है क्या वह उस हक़ीक़त को रोता है 
या जो हो ना सका वो हो जाये इस उम्मीद को रोता हैं !

मेरा दिल ना समझ हैं मानता नही

 मैं चाहूँ भी तो तुमको पा नही सकता
और ये बात किसी को समझा नही सकता !
#कबीर.....

©Kabir Thakur

#rosepetal

13 Love

अब इस भरम में हर एक रात काटनी हैं मुझे के आने वाली तेरे साथ काटनी हैं मुझे तुझे दिलाना हैं एहसास अपने दुःख का तू कुछ तो बोल तेरी बात काटनी हैं मुझे ©Kabir Thakur

#loveshayari #addiction  अब इस भरम में हर एक रात काटनी हैं मुझे
के आने वाली तेरे साथ काटनी हैं मुझे

तुझे दिलाना हैं एहसास अपने दुःख का
तू कुछ तो बोल तेरी बात काटनी हैं मुझे

©Kabir Thakur

#addiction

14 Love

हिज़रत का इरादा तो हमारा भी नही था पर इसके अलावा कोई चारा भी नही था दो बोल भी मीठे नही थे हमको मय्यसर यानी हमे तिनके का सहारा भी नही था। ©Kabir Thakur

#romanticstory #darbaredil  हिज़रत का इरादा तो हमारा भी नही था
पर इसके अलावा कोई चारा भी नही था

दो बोल भी मीठे नही थे हमको मय्यसर
यानी हमे तिनके का सहारा भी नही था।

©Kabir Thakur

हर एक शख़्स जहाँ इंतक़ाम ले रहा था वहाँ मैं सब्र-ओ-सादगी से काम ले रहा था दीवानगी का सबब पूछा जा रहा था मेरी मैं चुप था और हुज़ूम उसका नाम ले रहा था वो जिनका सोच के शहज़ादे खौफ़ खा रहे थे वो फ़ैसले तो तुम्हारा गुलाम ले रहा था । ©Kabir Thakur

#darbaredil #YouNme  हर एक शख़्स जहाँ इंतक़ाम ले रहा था
वहाँ मैं सब्र-ओ-सादगी से काम ले रहा था

दीवानगी का सबब पूछा जा रहा था मेरी 
मैं चुप था और हुज़ूम उसका नाम ले रहा था

वो जिनका सोच के शहज़ादे खौफ़ खा रहे थे
वो फ़ैसले तो तुम्हारा गुलाम ले रहा था ।

©Kabir Thakur

#YouNme

12 Love

sunset nature महीनों बाद दफ्तर आ रहे हैं हम एक सदमे से बाहर आ रहे हैं तेरी बाहों से दिल उकता गया हैं अब इस झूले में चक्कर आ रहे हैं कहां सोया है चौकीदार मेरा ये कैसे लोग अंदर आ रहे हैं - Tehzeeb Hafi ©Kabir Thakur

#sunsetnature  sunset nature महीनों बाद दफ्तर आ रहे हैं
हम एक सदमे से बाहर आ रहे हैं

तेरी बाहों से दिल उकता गया हैं
अब इस झूले में चक्कर आ रहे हैं

कहां सोया है चौकीदार मेरा
ये कैसे लोग अंदर आ रहे हैं


- Tehzeeb Hafi

©Kabir Thakur

#sunsetnature

14 Love

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